वर्ल्ड डेस्क, अमर उजाला, लंदन
Updated Thu, 12 Nov 2020 12:31 PM IST
ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन
– फोटो : ANI
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इस पर जॉनसन ने कहा, ‘मैं अपने माननीय मित्र से उत्साहपूर्वक सहमत हूं और मैं उन्हें बता सकता हूं कि यही वजह है कि दक्षिण एशिया के मंत्री ने हाल ही में पाकिस्तान के मानवाधिकार मंत्री के साथ इस मुद्दे को उठाया था। हमने पाकिस्तान सरकार से अपने सभी नागरिकों के मौलिक अधिकारों की गारंटी देने का आग्रह किया है।’
अहमद खान ने संसद को संबोधित करते हुए कहा कि जब देश सही ढंग से कोविड-19 से लड़ने पर ध्यान केंद्रित कर रहा है तब उसे मानवीय अन्याय और सताए गए अल्पसंख्यकों की दुर्दशा को नजरअंदाज नहीं करना चाहिए। उन्होंने रविवार को पाकिस्तान के पेशावर में एक अहमदी नागरिक की बर्बर हत्या का जिक्र किया।
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अहमद खान ने कहा, ‘रविवार को 82 वर्षीय महबूब अहमद खान की गोली मारकर हत्या कर दी गई। यह हाल ही में पेशावर में मारे गए चौथे अहमदी थे। उसने पाकिस्तानी कानून के तहत अपराध किया था? वह खुद को अहमदी मुस्लिम कहते थे जिनका पंथ ‘सभी के लिए प्यार, किसी के लिए नफरत नहीं’ है। क्या मेरे माननीय मित्र मुझसे सहमत हैं कि पाकिस्तान में नफरत सड़कों पर खत्म की जाती है। ब्रिटिश सरकार को पाकिस्तान को स्पष्ट करना चाहिए कि सरकार समर्थित उत्पीड़न समाप्त होना चाहिए?’
बता दें, अल्पसंख्यकों के साथ होने वाले दुर्व्यवहार को लेकर पाकिस्तान कई बार आलोचनाओं का शिकार हो चुका है। वहां अल्पसंख्यकों के सरकारी अधिकारियों के हाथों उत्पीड़न के मामले सामने आते रहते हैं। कई देश अल्पसंख्यकों के साथ होने वाले मानवाधिकार उल्लंघन को लेकर उसे लताड़ चुके हैं।
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